गुरुके कौन-कौनसे प्रकार हैं ?

८.१०.१९९५ के दिन इंदौरमें मैंने (डॉ. जयंत आठवलेने) बाबासे (प.पू. भक्तराज महाराजजीसे) कहा, ‘‘जब आप बीमार होते हैं, तो आपके पास रहकर आपकी सेवा करनेके विचारकी अपेक्षा ग्रन्थ लिखनेके विचार अधिक आते हैं । सगुण देहकी सेवा मनसे नहीं होती ।’’ इसपर बाबा बोले, ‘‘तुम्हें लगता है कि ग्रन्थ लिखना चाहिए, वही ठीक है । वह ईश्‍वरीय कार्य है ।

शिष्य के जीवन में गुरुका अनन्यसाधारण महत्त्व !

गुरु का महत्त्व ज्ञात होने पर नर से नारायण बनने में अधिक समय नहीं लगता; क्योंकि गुरु देवता का प्रत्यक्ष सगुण रूप ही होते हैं, इसलिए जिसे गुरु स्वीकारते हैं उसे भगवान भी स्वीकारते हैं एवं उस जीव का अपनेआप ही कल्याण होता है ।

आधुनिकतावादियों द्वारा हिन्दू संगठनों की प्रतिमा कलंकित करने का ‘षड्यंत्र’ – श्री. प्रमोद मुतालिक

धारवाड : ३० अगस्त को यहां के हिन्दुत्वनिष्ठ संगठनोंद्वारा सनातन के समर्थनार्थ एक मोर्चा निकाला गया था ।

आधुनिकतावादियों द्वारा हिन्दू संगठनों की प्रतिमा कलंकित करने का ‘षड्यंत्र’ : श्री. प्रमोद मुतालिक

इस फेरी में सम्मिलित श्रीराम सेना के श्री. प्रमोद मुतालिक ने कहा कि, इन पुरो(अधो)गामियोंद्वारा सनातन संस्था पर मिथ्या आरोप लगा कर हिन्दू संगठनों की प्रतिमा को कलंकित करने का एक बड़ा ‘षड्यंत्र’ है !

आध्यात्मिक पहेली

अधिकांश नियतकालिकों में शब्दपहेलियां होती हैं । वे बौद्धिक स्तर की होती हैं । सनातन प्रभात आध्यात्मिक नियतकालिक होने से इस लेखमाला में आध्यात्मिक स्तर की पहेलियां दी हैं । अत: इससे मानसिक, बौद्धिक एवं आध्यात्मिक स्तर की पहेलियों में भिन्नता ध्यान में आएगी ।

परात्पर गुरु डॉ. आठवलेजी के अमृतमहोत्सव निमित्त…

प.पू. डॉक्टरजी हिन्दू धर्म की ग्लानि दूर करने के लिए ग्रंथ, नियतकालिकों के माध्यम से. निरंतर मागदर्शन करते रहते हैं । प्रत्येक साधक को मोक्षप्राप्ति हो, ऐसा ही मार्गदर्शन वे करते रहते हैं ।

मन की बात : गणेश उत्सव पर मिट्टी की मूर्तियां स्थापित करें !

रविवार को रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ में प्रधानमंत्री मोदी ने देश की जनता को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि लोकमान्य तिलक जी ने सार्वजनिक गणेशोत्सव के धार्मिक अवसर को राष्ट्र जागरण का पर्व बनाया। गणेश उत्सव में हमें पर्यावरण की रक्षा का संकल्प लेने की जरूरत है।

श्री गणेशमूर्तियों के विसर्जन से जलाशय प्रदूषित नहीं होते ! – गोवा प्रदूषण नियंत्रण मंडल का निष्कर्ष

गोवा प्रदूषण नियंत्रण मंडलद्वारा वर्ष २०१५ के श्री गणेश विसर्जन के समय की गई जांच से पुनः एक बार स्पष्ट हो गया है कि श्री गणेशमूर्तियों के विसर्जन से जलाशय के पानी के घटक में कोई परिवर्तन नहीं होता !

गुरुदेव डॉ. काटेस्वामीजी की सनातन पर कृपादृष्टि !

सनातन को अनिष्ट शक्तियों से होनेवाले कष्ट और हिन्दू धर्म के प्रचार में उनके द्वारा उत्पन्न की जानेवाली बाधाएं दूर होने के लिए गुरुदेव डॉ. काटेस्वामीजी ने वर्ष २००४ से उनके देहत्याग तक जप, हवन, सप्तशतिपाठ आदि कर्म किए ।

कुंड के पानी में रखी श्री गणेशमूर्ति के विघटन हेतु उसमें अमोनियम बायकार्बोनेट छोडने का अघोरी निर्णय !

पुणे महानगरपालिका ने इस वर्ष श्रीगणेशमूर्तियों का विसर्जन कराने के लिए बनाए जानेवाले तात्कालिक कुंडों में श्रीगणेशमूर्तियों को घुलाने के लिए पानी में अमोनियम कार्बोनेट (बेकिंग सोडा) का मिश्रण करने का निर्णय लिया है ।