आध्यात्मिक कष्टों के प्रकार

वातावरण में अच्छी और अनिष्ट शक्तियां कार्यरत होती हैं । अच्छी शक्ति अच्छे कार्य के लिए मनुष्य की सहायता करती हैं, जबकि अनिष्ट शक्तियां उसे कष्ट देती हैं । पूर्वकाल में ऋषि-मुनियों के यज्ञों में राक्षसों द्वारा विघ्न डालने का उल्लेख वेद-पुराणों की अनेक कथाओं में पाया जाता है ।

घातक संभाव्य महामारी ‘डिसीज एक्स’ पर उपचार हेतु किया जानेवाला नामजप

‘विश्व स्वास्थ्य संगठन’ ने दावा किया है कि पूरे जगत में ‘कोरोना’ महामारी से भी ७ गुना घातक ‘डिसीज एक्स’ नामक महामारी आनेवाली है और इससे विश्व के ५ करोड लोग अपने प्राण गंवा सकते हैं । यह महामारी पूरे विश्व में कभी भी आतंक मचा सकती है ।

मार्च २०२३ से आध्यात्मिक स्तर पर उपाय करने का स्थान सिर पर आना, अर्थात वह स्थान मस्तिष्क से, अर्थात कृति से संबंधित होना

अनिष्ट शक्तियों ने कालानुसार साधकों पर आक्रमण करने में चाहे कितने भी तरीके अपनाए, तब भी गुरुकृपा से योग्य उपाय  मिलते जाते हैं । इसलिए साधक अनिष्ट शक्तियों पर मात कर सकते हैं । इसके लिए मैं श्रीगुरुचरणों में कोटि-कोटि कृतज्ञता व्यक्त करता हूं ।

‘आंख आना’ के लक्षण एवं उस पर उपाय

आंखें आना, यह आंखों का एक संक्रामक रोग है । वर्तमान में अनेक भागों में यह रोग फैला है और उसका संक्रमण शीघ्रता से हो रहा है । सर्व आयु के व्यक्ति प्रमुखरूप से बच्चे इस बीमारी से ग्रस्त हैं ।

‘दोनों हथेलियों की एकत्रित मुद्रा’ कर शरीर पर से कष्टदायक शक्ति का आवरण निकालने की पद्धति !

गुरुकृपा से ही शरीर पर से आवरण निकालने की इन पद्धतियों को ढूंढ पाए । इसके लिए हम साधक श्री गुरु के श्रीचरणों में कृतज्ञता व्यक्त करते हैं ।

‘मीनार (टॉवर) मुद्रा’ द्वारा शरीर पर आया आवरण निकालने की पद्धति

सहस्रारचक्र पर पकडी हुई ‘मीनार’ मुद्रा (‘टॉवर’ की मुद्रा), साथ ही ‘पर्वतमुद्रा’ के कारण अनिष्ट शक्तियों का कष्ट शीघ्र दूर होने में सहायता मिलना

प्राणशक्तिवहन उपायपद्धतिनुसार आध्यात्मिक उपचार ढूंढने से पूर्व एवं आध्यात्मिक उपचार करने से पूर्व अनिष्ट शक्तियों द्वारा लाया गया कष्टदायक आवरण निकालने के विषय में अध्ययन के अंत में ध्यान में आए सूत्र !

अनिष्ट शक्तियां ऊपरी-ऊपर कष्टदायक आवरण ला रही हैं। आध्यात्मिक उपचार करके वह कम करें।आवरण आध्यात्मिक उपचार द्वारा कैसे निकाले यह अवश्य पढें।

किसी वस्तु पर शीघ्र गति से आध्यात्मिक स्तर पर उपाय करने की पद्धति

‘किसी वस्तु पर कष्टदायक स्पंदनों का आवरण दूर करने के लिए भी उस वस्तु की किनार के सामने मुठ्ठी से आवरण निकालने पर उस वस्तु पर से भी आवरण शीघ्र निकल जाता है । तदुपरांत उस वस्तु के किनार के सामने हथेली रखकर आध्यात्मिक उपाय करने पर उसमें शीघ्र अच्छे स्पंदन आते हैं ।’

आपातकाल में अनिष्ट शक्तियों के कष्टों की ओर देखने का दृष्टिकोण एवं कष्ट पर मात करने के उपाय

अनेक साधक आध्यात्मिक कष्ट पर मात करने के लिए आध्यात्मिक उपायों में बैठते हैं । वर्तमान में आपातकाल आरंभ होने से ऐसा नहीं है कि कष्ट पूर्णरूप से चला जाएगा । यहां ध्यान देनेवाली बात यह है कि कष्ट में भी यदि हम भगवान से अपना अनुसंधान टिकाए हैं, तो उसमें भी साधना होगी

मनुष्य को रात में अनिष्ट शक्तियों का कष्ट अधिक मात्रा में होने के पीछे का अध्यात्मशास्त्र !

पृथ्वी पर जिन भूभागों पर सूर्यप्रकाश पडता है, उस समय एवं उसके पश्चात भी कुछ समय के लिए सूर्य का वातावरण पर परिणाम सूक्ष्म रूप से टिका रहता है; कारण सूर्यप्रकाश में दैवीय अस्तित्व होता है । इसलिए सूक्ष्म से अनिष्ट शक्तियों को सूर्यप्रकाश से युक्त भूभागों पर कार्य करना कठिन होता है ।